हाजीपुर में राज्य ग्रामीण आवास कर्मियों की दो दिवसीय सांकेतिक हड़ताल शुरू: स्थायित्व और मानदेय वृद्धि की मांग को लेकर गांधी चौक पर जुटे कर्मी
हाजीपुर, वैशाली
वैशाली जिले के हाजीपुर शहर में राज्य ग्रामीण आवास कर्मी संघ के बैनर तले एक राज्य स्तरीय दो दिवसीय सांकेतिक हड़ताल की शुरुआत की गई। यह हड़ताल आज, 15 जून से 16 जून 2025 तक आयोजित की जा रही है, जिसका मुख्य स्थल गांधी चौक, हाजीपुर रहा। हड़ताल का उद्देश्य सरकार से मानदेय में वृद्धि और सेवा का स्थायित्व सुनिश्चित कराना है।
✊ हड़ताल का उद्देश्य: मानदेय में वृद्धि और स्थायित्व की मांग
राज्य भर के ग्रामीण आवास कर्मियों ने लंबे समय से कम वेतन, अनिश्चित भविष्य और संविदा पर आधारित सेवा व्यवस्था को लेकर आवाज़ उठाई है। उनका कहना है कि वे गांव-गांव जाकर योजनाओं को धरातल पर लागू करते हैं, फिर भी उन्हें स्थाई कर्मचारी का दर्जा नहीं दिया जाता है।
हड़ताल में शामिल कर्मियों ने सरकार से दैनिक कार्यों के अनुरूप सम्मानजनक मानदेय और सेवा को स्थायी करने की दिशा में ठोस निर्णय की मांग की।
🗣️ कर्मियों की आवाज़
हड़ताल स्थल पर जुटे कर्मियों ने कहा:
“हम गांवों में प्रधानमंत्री आवास योजना और अन्य ग्रामीण योजनाओं के अंतर्गत दिन-रात मेहनत करते हैं, फिर भी हमारे रोजगार की कोई गारंटी नहीं है। मानदेय इतना कम है कि परिवार चलाना मुश्किल होता है। हमें स्थाई कर्मी का दर्जा चाहिए।”
कई कर्मियों ने कहा कि अगर सरकार जल्द से जल्द कोई सकारात्मक निर्णय नहीं लेती है, तो यह सांकेतिक हड़ताल अनिश्चितकालीन आंदोलन में भी बदल सकती है।
🧑🤝🧑 बड़ी संख्या में कर्मियों की उपस्थिति
हाजीपुर के गांधी चौक पर आयोजित इस सांकेतिक हड़ताल में वैशाली जिले के विभिन्न प्रखंडों से सैकड़ों ग्रामीण आवास कर्मी जुटे। उनमें महिलाएं भी बड़ी संख्या में शामिल थीं। सभी ने एक सुर में सरकार से संवेदनशीलता और समाधान की उम्मीद जताई।
प्रदर्शन स्थल पर कर्मियों ने बैनर, पोस्टर और नारेबाजी के माध्यम से अपनी मांगों को मुखर किया। “स्थायित्व हमारा अधिकार है”, “कम मानदेय नहीं चलेगा” जैसे नारों से गांधी चौक गूंज उठा।
📋 मुख्य मांगें क्या हैं?
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स्थायीत्व – ग्रामीण आवास कर्मियों को स्थाई कर्मचारी का दर्जा दिया जाए।
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मानदेय में वृद्धि – वर्तमान मानदेय बहुत कम है, इसे बढ़ाकर न्यूनतम वेतन के अनुरूप किया जाए।
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भविष्य निधि और बीमा योजना – कर्मियों के लिए सामाजिक सुरक्षा योजनाएं लागू की जाएं।
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सेवा शर्तों में पारदर्शिता – सेवा से संबंधित नियम स्पष्ट और नियमित किए जाएं।
🏛️ प्रशासन और सरकार की चुप्पी पर नाराजगी
हड़ताल में शामिल कर्मियों ने यह भी कहा कि वे कई बार सरकार और विभागीय अधिकारियों को ज्ञापन और पत्राचार के माध्यम से अपनी समस्याएं बता चुके हैं, लेकिन अब तक कोई ठोस पहल नहीं हुई है। इस उपेक्षा और अनदेखी के खिलाफ ही यह आंदोलन शुरू किया गया है।
📅 आगामी रणनीति क्या है?
राज्य ग्रामीण आवास कर्मी संघ ने साफ किया है कि अगर उनकी मांगें नहीं मानी जाती हैं तो यह सांकेतिक हड़ताल उग्र आंदोलन में बदल सकती है।
उन्होंने चेतावनी दी है कि आगे चलकर राज्य भर में कार्य का बहिष्कार और पटना में विशाल प्रदर्शन जैसे कदम भी उठाए जा सकते हैं।
राज्य ग्रामीण आवास कर्मियों की यह हड़ताल सरकार को एक साफ़ संकेत देती है कि ज़मीनी स्तर पर योजनाओं को लागू करने वालों की आवाज़ को अब और दबाया नहीं जा सकता।
सरकार को चाहिए कि वह इन कर्मियों की मांगों पर गंभीरता से विचार करे, ताकि इनकी आर्थिक और सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।
इस आंदोलन ने न सिर्फ़ आवास कर्मियों को एकजुट किया है, बल्कि यह भी दर्शाया है कि संगठित संघर्ष से ही हक़ और अधिकार की प्राप्ति होती है।
रिपोर्ट: हाजीपुर संवाददाता RUPESH KUMAR SINGH DIRECTOR SGNEWS OFFICIAL
तिथि: 16जून 2025

